साम्प्रदायिक सौहार्द की मिसाल है भारतीय मंदिर
रीजेंट्स पार्क का ये भारतीय मंदिर करीब 20 सालों से यहां पर है. काउंसिल के मुताबिक 20 साल पहले कुछ फिजी भारतीय मूल के समुदाय ने एक पुराने चर्च की इमारत को खरीदकर यहां भारतीय मंदिर स्थापित किया था. अब भी ये बिल्डिंग एक चर्च की तरह ही दिखती है. बिल्डिंग खरीदने के बाद मंदिर समिति ने फैसला किया था यहां मौजूद पुराने क्रिश्चियन साक्ष्य नहीं हटाए जाएंगे. उन्होंने भगवान की मूर्तियों के पहले मौजूद क्रिश्चियन साक्ष्यों के साथ ही रखा था.
मंदिर के अंदर तोड़फोड़

Source: Gaurav Vaishnava
लेकिन रविवार 14 अक्टूबर के रोज़ जो कुछ हुआ उससे यहां दर्शनों के लिए आने वाला भारतीय समुदाय दुखी है. हिंदू काउंसिल की ओर से बताया गया है कि रविवार शाम को जब मंदिर खोलने के लिए लोग यहां पहुंचे तो अंदर से कुछ धुआं आता दिखाई दिया. तहक़ीक़ात करने पर पता चला कि अंदर कुछ लोग मौजूद हैं. लोगों को आता देख वे लोग खिड़कियों के रास्ते भाग गये.
अंदर पहुंचने पर पता चला कि मंदिर में मौजूद मूर्तियों को काफी नुकसान पहुंचाया गया था. साथ ही एक भाग में आग भी लगा दी गई थी. हालांकि इस आग पर समय रहते काबू पा लिया गया.

Source: Hindu Council of Australia
हिंदू काउंसिल ऑफ ऑस्ट्रेलिया के अध्यक्ष प्रकाश मेहता कहते हैं कि इस घटना से हिंदू समुदाय दुखी है. और इस घटना की भर्त्सना की जानी चाहिए.
मल्टीकल्चरिज्म मिनिस्टर रे विलियम्स ने की घटना की निंदा
उधर मिनिस्टर फॉर मल्टीकल्चरिज़्म रे विलियम्स ने एसबीएस हिंदी को भेजे संदेश में इस घटना की निंदा की है. उन्होंने कहा कि उनकी सरकार ने पिछले दिनों ही क्राइम एक्ट को मज़बूत किया है जिससे कि देश में रहने वाले सभी समुदाय सुरक्षित महसूस कर सकें. उन्होंने उम्मीद जताई कि पुलिस मंदिर को नुकसान पहुंचाने वालों के उनके सज़ा दिलाने में कामयाब होगी.